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जो व्यक्ति सुबह उठते ही करता है ये एक काम, उसे नहीं करना पड़ता है असफलता का सामना !

हमारे हिंदू धर्म के धार्मिक ग्रंथों और पुराणों में कई ऐसी बातों का जिक्र किया गया जो व्यक्ति के कल्याण के लिए बताई गई हैं. इसके साथ यह भी बताया गया है कि व्यक्ति को सुबह उठते ही कौन से काम करने चाहिए और कौन से नहीं.

हालांकि हर रोज सुबह उठकर देवी-देवताओं की पूजा-अर्चना करने के काफी फायदे बताए गए हैं. मान्यता है कि सुबह-सुबह देवी-देवताओं की पूजा-अर्चना करने से पूरा दिन अच्छा गुजरता है और व्यक्ति को अपने कामों में सफलता मिलती है.

लेकिन देवी-देवताओं की पूजा के लिए मन के साथ-साथ व्यक्ति का तन भी पवित्र होना चाहिए, क्योंकि जब तक मन और तन दोनों की शुद्धि नहीं होगी तब तक पूजा का फल नहीं प्राप्त होता है.

आइए आज हम आपको हिंदू धर्म के पांच अलग-अलग ग्रंथों में बताए गए एक ऐसे कार्य के बारे में बताने जा रहे हैं जिसे हर रोज सुबह उठते ही करना चाहिए, कहते हैं कि जो व्यक्ति हर रोज सुबह उठने के बाद यह काम करता है, उससे दरिद्रता की देवी अलक्ष्मी सदैव दूर रहती हैं और उसे हर कार्य में सफलता मिलती है.

सुबह उठते ही करना चाहिए स्नान

हिंदू धर्म के विभिन्न धार्मिक ग्रंथों में इस बात का जिक्र किया गया है कि व्यक्ति को हर रोज सुबह जल्दी बिस्तर छोड़ देना चाहिए और उसे सुबह-सुबह ही स्नान कर लेना चाहिए.

सुबह-सुबह स्नान करनेवाले व्यक्ति के जीवन में अगर कोई बुरा दौर आता है तो वो शीघ्र चला भी जाता है साथ ही उन्हें जीवन में कभी असलफलता का सामना नहीं करना पड़ता है.

1- कूर्म पुराण

कूर्म पुराण के अनुसार व्यक्ति को स्नान किए बिना कोई भी काम नहीं करना चाहिए. कहा जाता है कि जो व्यक्ति हररोज सुबह के वक्त ही स्नान कर लेता है उससे गरीबी और दुर्भाग्य की देवी अलक्ष्मी दूर ही रहती हैं इसके साथ ही बुरे सपने और बुरा समय उस व्यक्ति से दूर ही रहते हैं.

2- देवी भागवत पुराण

देवी भागवत पुराण के अनुसार जो व्यक्ति सुबह के वक्स स्नान नहीं करता है उसके दिनभर के सारे काम फलहीन हो जाते हैं इसलिए व्यक्ति को दोपहर या शाम के समय स्नान करने के बजाय रोज सुबह ही स्नान करना चाहिए.

3- भविष्य पुराण

भविष्य पुराण के अनुसार जो व्यक्ति सुबह स्नान नहीं करता है उसके मन और भाव में शुद्धि नहीं आती है. जिससे व्यक्ति को असफलता का मुंह देखना पड़ता है. इसलिए अपने तन को शुद्ध करने के लिए सुबह-सुबह उठकर ही स्नान करना चाहिए.

4- श्रीमदभगवत गीता

श्रीमदगवत गीता के अनुसार कहा जाता है कि व्यक्ति के शरीर में कुल नौ द्वार होते हैं जिनसे दिनभर गंदगी निकलती रहती है. खासकर रोज सुबह उठकर नहानेवाले व्यक्ति के शरीर से सारी गंदगी बाहर निकल जाती है और उसका शरीर पवित्र रहता है. पवित्र शरीर वाला व्यक्ति कोई भी काम करता है तो उसे उसमें कामयाबी जरूर मिलती है.

5- स्कंद पुराण

स्कंद पुराण के अनुसार अपने शरीर को जल में डूबा लेने मात्र से ही स्नान पूरा नहीं होता. इसलिए सुबह के वक्त स्नान करते समय व्यक्ति को अपने मन और इंद्रियों को वश में करके पूरे दिन ऊर्जा के साथ काम करने का निश्चय करना चाहिए और निश्चय से किए हुए कामों में कभी असफलता नहीं मिलती है.

बहरहाल हिंदू धर्म के विभिन्न धार्मिक ग्रंथों और पुराणों की बात पर गौर किया जाए तो जो व्यक्ति हर रोज सुबह उठकर स्नान करने के बाद अपनी दिनचर्या की शुरूआत करता है उसे अपने जीवन में कभी असफलता का सामना नहीं करना पड़ता है.