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वैज्ञानिकों का दावा है कि बिना एक्सपायरी डेट के जन्मे हैं इन्सान !

इंसानों की अधिकतम उम्र

इंसानों की अधिकतम उम्र को लेकर मॉन्ट्रियल के मैकगिल यूनिवर्सिटी में रिसर्च चल रही है।

इस यूनिवर्सिटी के बायोलॉजिस्‍ट इंसान की उम्र और वो कितने सालों तक जिंदा रह सकता है, इन सब सवालों का जवाब ढूंढने की कोशिश कर रहे हैं। इन वैज्ञानिकों का कहना है कि इंसानों की अधिकतम उम्र की सीमा तो निर्धारित है लेकिन वो कितनी है, ये कह पाना थोड़ा मुश्किल है।

वैज्ञानिक कहते हैं कि ट्रेंड लाइन को बढ़ाकर हम दिखा सकते हैं कि इंसानों की अधिकतम उम्र और औसत उम्र लगातार बढ़ती जा रही है।

1968 से हर साल अमेरिका, ब्रिटेन, फ्रांस और जापान में सबसे ज्‍यादा जीने वाले लोगों की उम्र पर अध्‍ययन किया गया। इस रिसर्च में शोधकर्ताओं ने यह निष्‍कर्ष निकाला कि इंसान की उम्र अधिकतम 115 साल होती है। ये सिर्फ सर्वे का निष्कर्ष है.

ये निष्‍कर्ष नेचर जनरल में प्रकाशित हो चुका है।

वैज्ञानिकों का कहना है कि मानव शरीर की कोई एक्‍सपायरी डेट है या उसके आंतरिक तंत्र थक जाते हैं, इन बातों का कोई प्रमाण नहीं है। इस तरह जैविक क्रियाएं तो होती हैं लेकिन ये कब तक काम करती हैं और इनकी कितनी उम्र होती है, इस बारे में कुछ नहीं कहा जा सकता है। ऐसा जरूरी नहीं है कि इंसान सिर्फ 115 साल तक ही जीवित रहेगा। पिछले कुछ सालों में औसत जीवनशैली में बढ़ोत्तरी हुई है।

1920 में कनाडा के लोग औसत 60 साल तक जीते थे जबकि 1980 में ये दर बढ़कर 76 साल हो गई। वर्तमान समय में कनाडा के लोगों की औसत उम्र 82 साल हो गई है।

इस बात से पता चलता है कि धीरे-धीरे इंसान की औसत उम्र की दर बढ़ रही है लेकिन ये कह पाना अभी भी मुश्किल है इंसान के शरीर के अंगों की उम्र कितनी होती है और ये कब तक काम कर सकते हैं।