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सरोगेसी से बच्चा हांसिल करना और फिर उनको नौकरानी के हाथ में देना कितना ठीक है ?

सरोगेसी से बच्चा

माँ या बाप बनना आज के ज़माने में एक खेल से बढ़कर कुछ नहीं.

बड़े लोग पैसे के बल पर माँ बाप बन जाते हैं. सिंगल पैरेंटिंग कितनी मुश्किल होती है, ये किसी को बताने की ज़रूरत नहीं.

ऐसे में ये और भी मुश्किल दिखाई देता है, जब कोई सेलेब बिना शादी के बच्चे ले. सेलेब होने का मतलब ये बिल्कुल नहीं है कि आप कुछ  भी कर सकते हैं.

हाल ही में दो बच्चों के पिता बने करण जौहर को शायद ही पता होगा कि बच्चा पालना कितना मुश्किल होता है.

करण जौहर के बारे में सब जानते हैं. उनका किसी महिला से कोई संबंध नहीं और उनकी माँ बूढ़ी हो चुकी हैं. ऐसे में सरोगेसी से बच्चा ले लेना और उनको नौकरानी के हाथ में देना कितना ठीक है.

बॉलीवुड में आजकल ये एक फैशन सा बन गया है.

शादी न करो और पैसा देकर सरोगेसी से बच्चा पैदा करो. तुषार कपूर भी इसी लिस्ट में आते हैं. न तो तुषार की बहन ने शादी की है और न ही तुषार. ऐसे में बच्चा लेना किस तरह से सही है. इन लोगों पर उंगली इसलिए नहीं उठती, क्योंकि ये सेलेब हैं.

इन लोगों के इस तरह के व्यवहार पर रोक लगनी चाहिए. अगर सरकार ने सरोगेसी से संबंधित बिल पास कर दिया होता, तो करण जौहर को बच्चा न मिलता. ख़ैर इन लोगों के बारे में कितना बोला जाए.

आज भी बहुत से ऐसे कपल्स हैं, जो मेडिकल ट्रीटमेंट के जरिये  भी अपनी औलाद का सुख नहीं भोग पाते. ऐसे पैरेंट्स अगर सरोगेसी से बच्चा लेते हैं, तो सार्थक है. लेकिन सिंगल पैरेंट्स, जिनकी खुद की लाइफ सेट नहीं है, जो समाज में अपने लिए ही समय नहीं निकाल पाते है और रातभर पार्टी करते हैं, दिन का कोई होश नहीं, ऐसे लोग सरोगेसी से बच्चा लेने की ज़िम्मेदारी कैसे निभा पाएंगे.

ये अपने आप में एक बड़ा सवाल है.

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