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16 साल के लड़के को गूगल में मिली 1.44 करोड़ के पैकेजवाली नौकरी के पीछे की सच्चाई तो जान लीजिए !

गूगल में नौकरी की सच्चाई

गूगल में नौकरी की सच्चाई – दुनिया के सबसे बड़े सर्च इंजन गूगल में नौकरी पाने का ख्वाब हर युवा देखता है लेकिन बहुत कम लोग ऐसे होते हैं जिन्हें ये मौका मिलता है.

आपको बता दें कि  पहले आई खबरों के मुताबिक कहा जा रहा था कि चंडीगढ़ के रहनेवाले एक 16 साल के लड़के को खुद गूगल ने नौकरी देने की पेशकश की है इसके एवज में उस लड़के को 1.44 सालाना पैकेज भी दिया जाएगा.

लेकिन अब ताजा खबरों की मानें तो खुद गूगल 16 साल के लड़के को नौकरी देनेवाली खबर से इंकार किया है. आखिर इस पूरी खबर के पीछे की सच्चाई क्या है चलिए ये जानने की कोशिश करते हैं.

गूगल में नौकरी की सच्चाई –

गूगल ने इस खबर को अफवाह करार दिया

पिछले दिनों खबर आ रही थी कि गूगल ने चंडीगढ़ के 16 साल के हर्षित शर्मा को अपनी कंपनी में काम करने के लिए हायर किया है लेकिन ताजा खबरों के मुताबिक कुछ रिपोर्ट्स ने इस खबर को महज एक अफवाह करार दिया है.

इंडियन एक्सप्रेस की खबर के मुताबिक इस छात्र को गूगल में मिली नौकरी की खबर पूरी तरह से झूठी हो सकती है. जबकि जी बिजनेस की खबर के मुताबिक गूगल इंडिया के प्रवक्ता ने कहा है कि कंपनी के पास ऐसा कोई डेटा नहीं है जिसमें वो हर्षित शर्मा को 1.44 करोड़ के पैकेज वाली नौकरी देने का दावा कर रही हो.

ग्राफिक डिजाइनिंग टीम के लिए हुआ था चयन

पहले आई खबर पर अगर विश्वास करें तो बताया जा रहा था कि हरियाणा के कुरुक्षेत्र से ताल्लुक रखनेवाले हर्षित को गूगल ने अपनी ग्राफिक्स डिजाइनिंग टीम के लिए चुना था. हर्षित चंडीगढ़ के सेक्टर 33 में स्थित गवर्नमेंट मॉडल सीनियर सेकेंड्री स्कूल में 12वीं कक्षा का छात्र है.

कहा ये जा रहा था कि गूगल में नौकरी करने के लिए अमेरिका में हर्षित को एक साल की ट्रेनिंग दी जाएगी. इस दौरान उन्हें चार लाख रुपये प्रति माह सैलरी दी जाएगी. ट्रेनिंग पूरी होने के बाद हर्षित की सैलरी 12 लाख रुपये हर महीने होगी.

गूगल में नौकरी पाकर बेहद खुश था हर्षित

हर्षित की मानें तो गूगल में नौकरी पाने के बाद उसका सपना साकार हो गया. क्योंकि वो हमेशा से गूगल के साथ काम करना चाहता था. हर्षित का मानना है कि वो एक औसत छात्र हैं और उसे अपनी मेहनत का फल मिला है जिससे वो बेहद खुश हैं.

आपको बता दें कि 10 साल की उम्र से ही डिजाइनिंग के क्षेत्र में हर्षित की दिलचस्पी बढ़नी शुरू हो गई थी. इसी दौरान उसने गूगल में नौकरी पाने का सपना आंखों में संजो लिया और उसे हकीकत में तब्दील करने के लिए अपने अंकल से ट्रेनिंग लेनी शुरू की.

आपको जानकर हैरानी होगी की डिजाइनिंग के लिए हर्षित ने कभी प्रोफेशनल इंस्टीट्यूट की मदद नहीं ली, बस उसके जुनून ने उसे इस मुकाम तक पहुंचा दिया.

कई महीनों तक नौकरी के लिए किया था आवेदन

हर्षित के अनुसार गूगल में नौकरी पाने के लिए उसने कई महीनों तक गूगल में आवेदन किया. तब जाकर उसे इंंटरव्यू देने का मौका मिला. हर्षित का ऑनलाइन इंटरव्यू लिया गया और उसके द्वारा बनाए गए पोस्टर के आधार पर ही सिलेक्शन भी हुआ.

स्कूली दिनों से ही हर्षित डिजाइनिंग किया करता था और इसी दौरान वो हॉलीवुड और बॉलीवुड के सितारों के पोस्टर बनाकर 40 हजार से 50 हजार तक कमा लिया करता था. इससे पहले हर्षित को प्रधानमंत्री के डिजिटल इंडिया स्कीम के तहत 7 हजार रुपये का इनाम भी मिल चुका है.

ये है गूगल में नौकरी की सच्चाई – गौरतलब है एक ओर जहां गूगल में 1.44 करोड़ के पैकेज वाली नौकरी मिलने की खबर से हर्षित और उसके परिवार वालों की खुशी का कोई ठिकाना नहीं रहा तो वहीं दूसरी तरफ गूगल की ओर से आए इस बयान से तो यही लगता है कि ये खबर महज एक अफवाह हो सकती है.