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इस ऐतिहासिक धरोहर में कभी महात्मा गांधी को किया गया था नजरबंद !

महात्मा गांधी को नजरबंद

महात्मा गांधी को नजरबंद – हमारे देश में कई ऐसे ऐतिहासिक और खूबसूरत पर्यटन स्थल मौजूद हैं जहां हर कोई अपने परिवार के साथ छुट्टियां मनाने और सैर-सपाटे के लिए जाते हैं.

देश के कई ऐतिहासिक पर्यटन स्थल है जो अपने आप में  इतिहास की कई कहानियां को समेटे हुए हैं और इन ऐतिहासिक धरोहरों से जुड़े रहस्य और इतिहास को जानने के लिए देश-विदेश से लोग खींचे चले आते हैं.

आज हम आपको महाराष्ट्र के पुणे स्थित एक ऐसे ऐतिहासिक पैलेस के बारे में जहां कभी महात्मा गांधी को नजरबंद किया गया था.

महात्मा गांधी को नजरबंद –

येरवड़ा का आगा खान पैलेस

पुणे के येरवड़ा स्थित आगा खान पैलेस एक ऐसी ऐतिहासिक धरोहर है जो अपने आप में इतिहास को समेटे हुए है. ऐतिहासिक रुप से काफी अहमियत रखनेवाले इस पैलेस को सुल्तान मुहम्मद शाह आगा खान दवितीय ने साल 1892 में बनवाया था. बताया जाता है कि 6.5 हेक्टेयर में फैले इस खूबसूरत महल को साल 1969 आगा खान चतुर्थ ने भारत सरकार को सौंप दिया था.

आगा खान द्वारा बनाए गया यह महल राष्ट्रपिता महात्मा गांधी, कस्तूरबा गांधी और उनके सहयोगियों से जुड़े इतिहास को भी बयान करता है.

यह महल ऐतिहासिक रुप से इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि भारत छोड़ो आंदोलन की असफलता के बाद साल 1940 में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी और उनकी पत्नी कस्तूरबा गांधी को नजरबंद किया गया था. इनके अलावा महादेव देसाई और सरोजनी नायडू को भी इस जगह पर नजरबंद किया गया था.

आपको बता दें कि कस्तूरबा गांधी ने अपनी आखिरी सांस भी इसी महल में ली थी और यहां पर उनकी समाधी भी स्थित है. हालांकि यह भवन अब संग्रहालय बन चुका है.

इस शानदार महल में गांधी जी के जीवन से जुडे बहुत से स्मारक मौजूद हैं जिनका दीदार करने के लिए लोग यहां पर आते हैं. इस पैलेस के अंदर पर्यटको के लिए म्यूजियम भी है. जहां पर चरखा, चप्पल और गांधी जी के सैंडल देखे जा सकते हैं.

गौरतलब है कि आगा खान द्वारा बनाया गया यह पैलेस आज भारत सरकार की धरोहर मानी जाती है जो एक ऐतिहासिक पर्यटन स्थल के रुप में मशहूर है. महात्मा गांधी और कस्तूरबा गांधी के जीवन से जुड़ी कई जानकारियां इस संग्रहालय में मौजूद है जिसे जानने के लिए यहां पर्यटकों की भीड़ लगी रहती है.