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शास्‍त्रों के ये नियम फॉलो किए तो धरती पर ही मिल जाएगा स्‍वर्ग का आनंद

हिंदू संस्‍कृति की धरोहर हैं शास्‍त्र जिन्‍हें अनेक विद्वानों ने आने वाली पीढ़ी के ज्ञान और सुखमय जीवन के लिए बनाया है। जो भी व्‍यक्‍ति शास्‍त्रों में बताए गए नियमों और दिशा-निर्देशों का पालन करता है उसे कभी अपने जीवन से निराशा और हताशा नहीं मिलती है।

बड़े-बुजुर्गों द्वारा कुछ पांरपरिक रिवाज़ भी बनए गए हैं और हर पीढ़ी उनका पालन भी करती है। माना जाता है कि इन सब बातों का पालन करने वाले व्‍यक्‍ति और उसके घर-परिवार पर ईश्‍वरीय कृपा रहती है। आधुनिकता की सोच रखने वाले लोग इसे अंधविश्‍वास और रूढिवादिता का नाम भी देते हैं। वैसे तो शास्‍त्रों में कई नियमों का उल्‍लेख है लेकिन जो व्‍यक्‍ति इन पांच नियमों का पालन करता है उसे धरती पर ही स्‍वर्ग का आनंद मिल जाता है।

वास्‍तु की बात करें तो घर के पूर्व-उत्तर की दिशा को पूजा के लिए उत्तम स्‍थान माना गया है। इस जगह पूजन स्‍थल होने से घर में रहने वाले लोग सुख-शांति, सुकून, धन, प्रसन्‍नता और स्‍वास्‍थ्‍य का लाभ प्राप्‍त करते हैं। सीढ़ी या रसोईघर के नीचे कभी भी पूजन स्‍थल नहीं बनाना चाहिए।

आपने भगवान कृष्‍ण के अनेक रूपों के बारे में तो सुना ही होगा साथ ही उनके सभी रूप बेहद सुंदर और मनमोहक भी हैं। भगवान कृष्‍ण के दर्शन मात्र से ही मन सकारात्‍मकता से भर जाता है। वास्‍तु के अनुसार जिस घर में श्रीकृष्‍ण की तस्‍वीर होती हैं वहां शुभता का वास रहता है। ऐसे घर में सकारात्‍मक ऊर्जा का संचार रहता है।

शास्‍त्रों के अनुसार तुलसी अत्‍यंत पवित्र है और जिस घर में तुलसी की पूजा होती है वहां सभी दैवीय शक्‍तियां अपना स्‍थायी बसेरा रखती हैं। तुलसी पूजन से संबंधित छोटी-छोटी बातों को ध्‍यान में रखकर पूजन करने से श्रेष्‍ठ फल की प्राप्‍ति होती है और महालक्ष्‍मी का वास आपके घर में रहता है। इससे सुख-समृद्धि और धन-धान्‍य की प्राप्‍ति होती है।

कहा जाता है कि गोबर में देवी लक्ष्‍मी का वास होता है एवं गोबर को गौ का वरदान कहा जाता है। गोबर से लीपे जाने पर भूमि यज्ञ के लिए उपयुक्‍त होती है। गोबर से बने उपलों का प्रयोग यज्ञशाला और रसोईघर में किया जाता ह।

जिस जगह को रोज़ गाय के गोबर से लीपा जाता है वह जगह हमेशा पवित्र रहती है। उस स्‍थान पर मां लक्ष्‍मी का वास होता है। ऐसे घर में धन-दौलत की कभी कोई कमी नहीं रहती है।

घर में एकाक्षी नारियल की पूजा करने से भी मां लक्ष्‍मी की कृपा प्राप्‍त होती है और कभी भी अन्‍न और धन की कमी नहीं रहती है।

घर में गौमूत्र का छिड़काव करने से दैवीय शक्‍तियों की कृपा मिलती है। सुबह के समय अपने घर में घूमकर घंटी बजाएं। इससे घंटी की आवाज़ से घर में मौजूद नेगेटिव एनर्जी खत्‍म होती है और सकारात्‍मकता बढ़ती है।

अगर कोई भी व्‍यक्‍ति शास्‍त्रों के इन नियमों का पालन करता है तो उसे धरती पर ही स्‍वर्ग जैसे जीवन की प्राप्‍ति होती है। ये कार्य करने वाले व्‍यक्‍ति को धन-धान्‍य और सुख-समृद्धि की कोई कमी नहीं रहती और इस तरह उसे धरती पर ही स्‍वर्ग मिल जाता है।