इतिहास

रामायण का चकित कर देने वाला सच, राजा दशरथ के चार नहीं पांच संताने थी!

दशरथ के कितनी संतान थी?

अगर ये सवाल किसी ऐसे इंसान से भी पुछा जाये जिसने रामायण पढ़ीं नहीं बस रामलीला या टीवी पर ही देखी  हो तो वो भी तपाक से जवाब दे देगा.

दशरथ के चार संताने थी राम, लक्ष्मण, भरत और शत्रुघ्न.

लेकिन अगर हम ये कहे कि आप गलत है. दशरथ के चार संतान नहीं पांच संताने थी.

चार पुत्र और एक पुत्री.

आज हम आपको बताएँगे रामायण का वो सच जो बहुत कम लोग जानते है.

राम और उनके तीन भाइयों की बड़ी बहन की कहानी.

जैसा की हम लोग जानते है और पढ़ते सुनते आये है कि दशरथ के चार पुत्र थे और पूरी रामायण इनके इर्द गिर्द ही घूमती है. खासकर राम और लक्ष्मण के. लेकिन महाराज दशरथ के इन चार पुत्रों से पहले एक पुत्री भी हुई थी. इस पुत्री का नाम शांता था. शांता की माता कौशल्या थी. शांता का जन्म चारों भाइयों के जन्म लेने से बहुत पहले हुआ था. इसलिए शांता राम और बाकि भाइयों से उम्र में काफी बड़ी थी.

एक बार अंग देश के राजा और रानी अयोध्या में राजा दशरथ के पास आये. अंगराज के पास किसी भी सुख सुविधा की कमी नहीं थी बस उनके जीवन में एक ही शोक था. वो निसंतान थे. जब दशरथ को इस बारे में पता चला तो दशरथ और कौशल्या ने अपनी पुत्री को अंगराज और उनकी पत्नी को गोद दे दिया. इस प्रकार शान्ता अंगराज की पुत्री हो गयी.

एक समय जब अंगराज अपनी पुत्री के साथ खेलने में व्यस्त थे उसी समय एक ब्राह्मण किसान उनसे सहायता मांगने आया. बेटी के साथ खेलते हुए अंगराज का ध्यान किसान की पुकार पर नहीं गया. किसान दुखी होकर वहां से चला गया.

किसान के दुःख को देखकर इंद्र को रोष हुआ और इंद्र ने अंग राज्य में वर्षा कम की जिससे राज्य के लोग बेहाल हो गए.

इंद्र को प्रसन्न करने के लिए अंगराज ने श्रृंगऋषि को इंद्र को प्रसन्न करने का उपाय पुछा. श्रृंग ऋषि ने इंद्र को प्रसन्न करने के लिए यग्य और अनुष्ठान किया. श्रृंग ऋषि के यज्ञ से इंद्र प्रसन्न हुए और अंगदेश में अकाल समाप्त हुआ. अंगराज ने अपनी गोद ली गयी पुत्री शांता का विवाह श्रृंग ऋषि के साथ कर दिया. कालांतर में श्रृंग ऋषि ने ही महाराज दशरथ के लिए पुत्र प्राप्ति अनुष्ठान किया था.

उनके यज्ञ अनुष्ठान की वजह से ही दशरथ को चार पुत्रों की प्राप्ति हुई.

भारत के उत्तरी भाग में हिमाचल प्रदेश में ऋषि श्रृंग और शांता की कहानी बहुत प्रसिद्ध है. कुल्लू ज़िले में ऋषि श्रृंग का मंदिर है. इसके अलावा एक अन्य मंदिर में ऋषि श्रृंग के साथ भगवान् राम की बड़ी बहन शांता की भी प्रतिमा है. हर वर्ष दूर दूर से श्रद्धालु ऋषि श्रृंग और डीवी शांता की पूजा अर्चना करने भरी संख्या में आते है.

ये थी भगवान राम  की बड़ी बहन शांता की कहानी. रामायण की ऐसी कहानी जिसे बहुत कम लोग जानते है.

Yogesh Pareek

Writer, wanderer , crazy movie buff, insane reader, lost soul and master of sarcasm.. Spiritual but not religious. worship Stanley Kubrick . in short A Mad in the Bad World.

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Yogesh Pareek

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