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मरते समय ये वैज्ञानिक कर गया ऐसा काम कि दुनिया आज भी मानती है इनका आभार

आइजैक न्‍यूटन

विश्‍व के सबसे महान वैज्ञानिकों में से एक सर आइजैक न्‍यूटन ने दुनिया को बहुत कुछ दिया है और इसी वजह से उन्‍हें सबसे महान वैज्ञानिकों में से एक माना जाता है। गुरुत्‍वाकर्षण, गति, प्रकाश के क्षेत्र में उनकी रचनाओं की दुनियाभर में सराहना की जाती है। 21वीं सदी में भी न्‍यूटन के आविष्‍कारों को लोगों ने माना है।

17वीं सदी में आई वैज्ञानिक क्रांति के पीछे भी आइजैक न्‍यूटन का ही मास्‍टर माइंड था लेकिन क्‍या आप जानते हैं कि दुनिया के इस महान वैज्ञानिक की मृत्‍यु कैसे हुई ?

भौतिक विज्ञान की पुस्‍तकों में केवल आइजैक न्‍यूटन के जीवन, खोज और आविष्‍कारों के बारे में ही बताया गया है लेकिन कहीं भी उनकी मृत्‍यु का जिक्र नहीं किया गया है। इसका मतलब है कि बहुत कम लोग जानते हैं कि न्‍यूटन की मृत्‍यु कैसे हुई थी।

अपने आखिरी दिनों में आइजैक न्‍यूटन लंदन के एक छोटे से घर में अपने परिचित जॉन लॉक के साथ रहे थे। उनकी मृत्‍यु के बाद जब डॉक्‍टर ने उनके बालों का परीक्षण किया तो उसमें पाया कि उनके बालों में पारा धातु यानि मर्करी की मात्रा बहुत थी। सोना बनाने की प्रक्रिया में पारा को एक महत्‍वपूर्ण धातु माना जाता है।

कहा जाता है कि आइजैक न्‍यूटन मरने से पहले पागल हो गए थे और आखिरी समय में उनका मानसिक संतुलन ठीक नहीं था। इसकी वजह पारा धातु के साथ काम करने के दुष्‍प्रभाव भी हैं। इसी वजह से न्‍यूटन की मौत हुई थी। किसी धातु को सोने में बदलने की कोशिश में उनकी मौत हो गई।

न्‍यूटन की मौत के इस कारण की वजह से दुनिया को पता चला कि पारा धातु से किसी भी चीज़ को बनाना खतरनाक हो सकता है और इसी तरह न्‍यूटन मरते समय भी दुनिया के लिए एक आविष्‍कार छोड़ गए।

न्‍यूटन के सभी आविष्‍कारों के लिए दुनिया उनकी सदा आभारी रहेगी।